सपनों में पूर्वज और मृत व्यक्ति दिखने का कारण क्या है ,प्रेमानंद महाराज से जानिए इसका गहरा मतलब
सपने अक्सर ऐसे होते हैं जो हमें सोचने पर मजबूर कर देते हैं खासकर जब किसी के सपने में उनके गुजर चुके रिश्तेदार या कोई मृतक नजर आता है तो वह दिल में एक तरह की बेचैनी का एहसास छोड़ देता है। वृंदावन-मथुरा के जाने माने संत प्रेमानंद महाराज ने इस विषय पर गहरी बात कही है। उन्होंने बताया है कि सपने तीन तरह के होते हैं। पहले वो सपने जो हमारे दिमाग की रोज की सोच या दिनभर के कामकाज का नतीजा होते हैं। दूसरे वो सपने जो बेमतलब होते हैं जिनका कोई खास मतलब नहीं होता। और तीसरे वे सपने जिनमें किसी संत महात्मा या भगवान का दर्शन होता है। ऐसे सपनों को आध्यात्मिक माना जाता है।
जब कोई अपने मर चुके रिश्तेदार को किसी तकलीफ में सपने में देखता है तो यह केवल डराने वाला दृश्य नहीं होता। इसका मतलब यह होता है कि शायद हमारे जीवन में उनसे जुड़े कुछ काम अधूरे रह गए हैं। यह एक तरह का संकेत हो सकता है कि उनकी याद या उनकी सेवा अभी बाकी है।
संत प्रेमानंद महाराज कहते हैं कि जब ऐसे सपने आएं तो नाम-जप करें भगवान के नाम का जाप करें। जरूरतमंदों को भोजन कराएं। वस्त्र दान करें। और किसी साधु-संत की सेवा करें। इसके साथ धार्मिक कार्यक्रम करें जैसे कथा हवन या कीर्तन ताकि आत्मा को शांति मिले। यदि किसी पूर्वज का श्राद्ध न हुआ हो तो पितृपक्ष में तर्पण जरूर करें। इससे उनके साथ-साथ हमें भी पुण्य की प्राप्ति होती है।
संतों का मानना है कि सपनों को लेकर बहुत ज्यादा चिंता नहीं करनी चाहिए क्योंकि सपने कई बार आत्मा से आने वाले संदेश भी होते हैं। यदि सपने में कोई महापुरुष या भगवान दिखाई दें तो उसे जरूर महत्व देना चाहिए। अन्य सपनों पर ज्यादा ध्यान देना व्यर्थ होता है।
यह जानकारी ज्योतिष शास्त्र की मान्यताओं पर आधारित है और केवल जानकारी के लिए दी गई है। उत्तरा न्यूज इस पर किसी तरह की पुष्टि नहीं करता।